व्यक्ति के मनोभावों का प्रतिबिंब होती है- डायरी

drkitchentips

    <script type="text/javascript">

atOptions = { 'key' : '39d9353c106ff447a0b03e89b35fd760', 'format' : 'iframe', 'height' : 90, 'width' : 728, 'params' : {} }; document.write('<scr' + 'ipt type="text/javascript" src="//www.profitablecreativeformat.com/39d9353c106ff447a0b03e89b35fd760/invoke.js"></scr' + 'ipt>'); </script>

नये वर्ष के शुरू होते ही लोग कुछ संकल्प कर लेते हैं, नई योजनाएं बनाते हैं, लेकिन वर्ष बीत जाने के बाद पता चलता है कि हमने जो संकल्प लिया था वह टांय-टांय फिस हो गया, क्यों होता है ऐसा? इसके पीछे कारण हैं, आपने संकल्प तो लिया पर उसे मूर्त रूप देने के लिए आपने डायरी का प्रयोग नहीं किया, जिसके कारण आपका लिया हुआ संकल्प बेकार चला गया। डायरी लिखना बहुत जरूरी है इससे अच्छा और कोई साधन नहीं हो सकता है । 

डायरी-Diary-Writing-Format-benifits-लिखने-फायदे

    व्यक्ति बीते हुए प्रत्येक अच्छे-बुरे पल की याद करना चाहता है। कि उसने पूरे वर्ष क्या- क्या किया। क्या अच्छा किया क्या बुरा किया और उसे कया करना चाहिए था क्या नहीं करना चाहिए था। जिसका पूरा- पूरा लेखा-जोखा उसे अपनी डायरी से ही मिल सकता है।


    डायरी को शौक न समझकर एक हमसफर या अपना सबसे जिगरी दोस्त समझें। विद्वानों का कथन है 'डायरी व्यक्ति के मनोभावों का प्रतिबिंब होती है।' इस बात से हम लोग इनकार नहीं कर सकते। अगर डायरी में ईमानदारी से सारी बातें लिखी जाएं तो कुछ न कुछ ऐसी बातें निकाल कर सामने आयेगी, जिस पर गौर करना उसके लिए आवश्यक हो जाता है। डायरी लिखने की आदत आपको अधिक कार्यकुशल भी बनायेगी। 


    इसके लिए आवश्यक है कि महत्वपूर्ण कार्यों को करने की तिथि तथा उन कार्यों की सम्पूर्ण रूपरेखा डायरी में लिखें, जिससे बिना भूलें प्रत्येक कार्य योजनाबद्ध ढ़ंग से समय पर पूरा हो जायेगा।


    डायरी रोज रात में इतमिनान से सोते वक्त एकाग्रचित होकर दिनभर की सारी महत्वपूर्ण छोटी-बड़ी घटनाओं को बिन्दुवार लिखें। डायरी लिखते वक्त कुछ सावधानियां भी रखनी आवश्यक है। वैसे अगर आप कोई बहुत गोपनीय बात लिखना चाहते हैं तो उसे वाक्य में न लिखकर कुछ रिमार्क देते हुए लिखें, जिसे पढ़ने पर सिर्फ आप ही समझ सकें, नहीं तो दूसरों को हंसने का अवसर मिल जायेगा। 


    कामकाजी महिलाएं हो या घरेलू सभी के लिए डायरी लिखना उपयोगी है, इसलिए कि घर के कामकाज के बाद बहुत सारा वक्त यूं ही बच जाता है, जिसे वे व्यर्थ में ही गवां देती हैं। वे यह समझ नहीं पातीं कि बचे हुए समय का उपयोग कैसे करें। उनके लिए डायरी लिखना न सिर्फ बचे हुए समय का बढ़िया उपयोग है बल्कि उनमें लिखने की शैली का विकास भी इसके द्वारा होगा। 


    अपनी भावनाओं को सिलसिलेवार व्यक्त करने की कला उन्हें आयेगी और भविष्य में वे इस आदत के द्वारा एक अच्छी लेखिका या कथाकार बन सकती हैं। बच्चों को भी डायरी लिखने की आदत डालनी चाहिए जिससे कि कई अनुशासन प्रिय बनें रहे। जैसे कि प्राकृतिक वस्तुओं का सेवन करने से व्यक्ति स्वस्थ और सानंद रहते हैं उसी तरह नियमित डायरी लिखने से व्यक्ति मितव्ययी और स्वस्थ मनोभाव को निखार सकते हैं।

Tags